माँ - माँ बेटा करता ,बच्चे की हर फर्याद
पूरी करती है ये माँ ,लेकिन बड़ा होकरके ये
माँ माँ क्यों न करता ,भूल गया जवानी आने पर
पर माँ न भूली बुढ़ापा आने पर ,हर माँ के दिल से पूछो
वोह लाढ प्यार से ,करती रहती हमेशा याद
पर बच्चे ने हमेशा ,कभी दिया नहीं माँ को ध्यान
कभी गीले में खुद सोकर ,बच्चे को सूखे में सुलाई
पर बच्चे ने जवानी की आग में ,दफ़न कर लिया माँ को
ऐसे बच्चे को है धित्कार,जो करे न माँ को अपने
कभी सपने भी फर्याद ,माँ बेटे का रिश्ता ऐसा
जो सात जनम से है जुड़ा ,माँ गुरु रूप ऐसी
इससे बड़ा नहीं कोई जग में ,इसके चरणों में झूमे
ब्रह्मा विष्णु महेश ,माँ तुझे अर्पित ,ये तेरा
बेटा "राहुल दीवाना"
॥॥॥
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